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फर्टिलाइजर ( खादों ) की कीमतों मैं बढ़ोतरी | Russia Ukraine War Impact On Fertilizer

फर्टिलाइजर ( खादों ) की कीमतों मैं बढ़ोतरी | Russia Ukraine War Impact On Fertilizer फर्टिलाइजर की कीमतें

फर्टिलाइजर की कीमतों में आ सकता है तेज उछाल | Russia Ukraine War Impact Fertilizer   *  किसानों का कहना है कि रूस और यूक्रेन के बीच युद्ध शुरू होने के बाद से उर्वरकों खादों ( Fertilizer) कीमतों में 10 प्रतिशत से ज्यादा की बढ़ोतरी हो चुकी है। रशिया दुनिया का एक  प्रमुख (Fertilizer Suppliers ) फर्टिलाइजर सप्लायर है , यूक्रेन के साथ युद्ध करने के चलते अमेरिका सहित अन्य देशों ने रूस पर काफी ज्यादा हाडा तक प्रतिबंद लगा दिए है । इसका सीधा असर ऑइल, पेट्रोल , इ. चीज़ों पर देखा जा सकता है , इसमें फ़र्टिलाइज़र ( Agriculture_Farming) भी शामिल है , जो हम बड़े पैमाने पर रूस से मंगवाते है । रूस – यूक्रेन युद्ध (russia Rkraine War )के चलते  उर्वरकों ( खादों )  की सप्लाई बाधित हो रही है। *  रशिया सालाना 5 करोड़ टन उर्वरक का उत्पादन करता है , जो दुनिया के कुल उत्पादन का लगभग 13 प्रतिशत है। रूस सिंथेटिक फर्टिलाइजर ( synthetic fertilizer) का दुनिया का सबसे बड़ा निर्यातक ( Exporter) है, जो यूरिया (urea) के पांचवें हिस्से से अधिक की आपूर्ति करता है। *  भारत सरकार ने उर्वरक सब्सिडी पर 19 अरब डॉलर खर्च करती है , भारत में अधिकांश उर्वरक रूस से आते हैं । रूस दुनिया में उर्वरक का सबसे बड़ा निर्यातक (exporter )है . उर्वरक बनाने के लिए आपको प्राकृतिक गैस ( natural gas )की आवश्यकता होती है – और वै ज्यादातर रूस में है। *  उर्वरक के उत्पादन में पोटाश ( potash) की एक बड़ी भूमिका होती है। भारत बड़ा मात्रा में पोटाश का आयात करता है, रूस ( russia) , यूक्रेन ( Ukrain )और बेलारूस पोटाश के सबसे बड़े निर्यातक हैं। युद्ध के कारण इन देशों से पोटाश की सप्लाई ठप पड़ी है, भारत अपने कुल उर्वरक आयात का 10-12 फीसदी हिस्सा रूस, यूक्रेन और बेलारूस से मंगवाता है। इसके अलावा पोटाश उत्पादन करने वाले अन्य देश जैसे कनाडा अपना उत्पादन बढ़ाने को सहमत नहीं हैं और इसी कारण वैश्विक बाजार में इसके दाम अधिक हैं. Fertilizer Rates :  जानकार बताते हैं कि चालू वित्त वर्ष में पोटाश का आयात करीब 280 डॉलर प्रति मिट्रिक टन के दाम पर किया जा रहा है, आपूर्ति संकट के कारण इसके दाम 500 से 600 डॉलर प्रति मीट्रिक टन हो सकते हैं , अब यह दाम काफी बढ़ गया है, जिसका सीधा असर किसानों पर पड़ेगा। इस साल भारत सरकार फ़र्टिलाइज़र की मैं 40 बिलियन डॉलर की सब्सिडी बढ़ाने वाला था , पर अब शायद किसानों के लिए ये सब्सिडी मिला कर भी खादों के दाम काफी ज्यादा होंगे ।   Article By.- VikramMarket.   Tag:- Agriculture News |  sheti batamya in marathi | Agriculture Latest News | Agriculture News in Hindi | Breaking Agriculture Live News Update | इफको डीएपी की कीमत 2022 | Kheti kisani Samachar | Kheti kisani Samachar खेती किसानी की जानकारी और ख़बरें | खेती News, खेती की ताज़ा ख़बर, खेती हिंदी न्यूज़

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