Telangana : पाम तेल की खेती, एक अच्छा विकल्प Palm Cultivation: भारत में हर साल 230 से 235 लाख टन खाद्य तेल की खपत होती है। लेकिन भारत को अपने खाद्य तेल की आवश्यकता का 65 प्रतिशत आयात करना पड़ता है। भारत हर साल 130 से 14 करोड़ टन खाद्य तेल का आयात करता है। इसमें करीब 85 लाख टन पाम ऑयल शामिल है। वर्तमान में भारत में 3 लाख टन से भी कम पाम तेल का उत्पादन होता है। इसलिए, भारत को आवश्यकता को पूरा करने के लिए इंडोनेशिया, मलेशिया और थाईलैंड पर निर्भर रहना पड़ता है। Telangana Government :- तेलंगाना सरकार ने अगले चार साल में 20 लाख एकड़ में पाम तेल के पेड़ लगाने का लक्ष्य रखा है। अगर ऐसा होता है तो तेलंगाना दुनिया का पांचवां सबसे बड़ा पाम तेल उत्पादक क्षेत्र बन जाएगा। लेकिन तेलंगाना के लिए इस लक्ष्य को हासिल करना इतना आसान नहीं है। तेलंगाना को भी कुछ मुश्किलों का सामना करना पड़ रहा है। पाम तेल के आयात को कम करने के लिए केंद्र सरकार ने पाम तेल उत्पादन को बढ़ावा देने की योजना बनाई है। तेलंगाना सरकार ने इसमें पहल की है। तेलंगाना का लक्ष्य अगले 4 वर्षों में 20 लाख एकड़ में पाम तेल के पेड़ लगाने का है। तेलंगाना सरकार भी इस लक्ष्य को हासिल करने के लिए तैयार है। समाचार एजेंसी रॉयटर्स ने बताया कि बड़े बांध बनाए गए हैं, ताड़ की फसलों की सिंचाई के लिए नहरें बनाई गई हैं और यहां तक कि अंकुरित बीजों को भी आयात किया गया है। Palm Oil :- पाम तेल की खेती के लिए सब्सिडी और अन्य फसलों की तुलना में अधिक आय की संभावना के कारण किसान भी पाम तेल की खेती की ओर रुख कर रहे हैं। पांच एकड़ में पाम तेल के पेड़ लगाने वाले एक किसान ने कहा कि कुछ साल पहले ताड़ के पेड़ लगाने वाले किसानों को एक एकड़ से दो लाख तक की आमदनी हो रही थी। दूसरी तरफ धान के खेत में काफी मेहनत करने के बाद उन्हें 40 हजार रुपये भी नहीं मिलते है। पिछले कुछ महीनों में पाम तेल की कीमतों में भारी उछाल आया है। इसलिए पाम तेल के फल बेचने वाले किसानों को धान की कीमतों के मुकाबले अच्छी कीमत मिली। India :- देश में पाम तेल की खेती पिछले कुछ वर्षों से किसानो ने करनी शुरू की है । हालांकि, कीमतों में उतार-चढ़ाव, पानी की कमी और लगभग चार साल की फल आने का इंतजार के कारण देश में पाम की खेती करने मैं किसानों ने ज्यादा दिलचस्पी नहीं दिखाई थी। देश में अभी तक सिर्फ 10 लाख एकड़ में ही खेती हुई है। इनमें से अधिकांश बिजरोपण आंध्र प्रदेश के तटीय क्षेत्रों में हुए। लेकिन वर्तमान में तेलंगाना में पाम की खेती नहीं की जाती है। लेकिन तेलंगाना दुनिया का पांचवां सबसे बड़ा राज्य बनने का सपना देखता है। और इसी की और अपने कदम बड़ा रहा है । . -एल वेंकटराम, सचिव, फलोत्पादन विभाग, तेलंगणा Article By.- VikramMarket.